November 21, 2024

MSME Summit : मुख्यमंत्री ने किया राज्य-स्तरीय एमएसएमई समिट का शुभारंभ…मुख्यमंत्री ने सफल उद्यमियों को एमएसएमई अवार्ड से नवाजा

0
Bhilai Durg Times

भोपाल, 19 जून। MSME Summit : मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि आत्म-निर्भर भारत के लिए आत्म-निर्भर मध्यप्रदेश के निर्माण का जो रोडमेप हमने बनाया है, उसके रोम-रोम में सशक्त औद्योगिक परिदृश्य के निर्माण और रोजगार सृजन की भावना रची-बसी है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में 21वीं सदी के आत्म-निर्भर भारत बनाने का जो यज्ञ चल रहा है, उसमें बड़े उद्योगों की भूमिका जितनी अहम है, उतना ही महत्व सूक्ष्म, लघु और मध्यम श्रेणी के उद्यमियों का भी है। युवाओं को रोजगार उपलब्ध कराने में इन उद्यमियों की भूमिका बहुत अधिक महत्वपूर्ण है, यह स्थानीय स्तर पर निवेश और रोजगार के अवसर सृजित करने के सशक्त माध्यम हैं। स्थानीय परिवेश-स्थानीय संसाधनों पर कार्य करने वाली इन इकाइयों की सहायता और विकास के लिए राज्य सरकार हरसंभव सहयोग प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध है। इसी उद्देश्य से आज हो रही समिट का ध्येय वाक्य “आर्थिक विकास के शुभ संयोग-मध्यप्रदेश के सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्योग” रखा गया है।

मुख्यमंत्री चौहान ने होटल आमेर ग्रीन भोपाल में राज्य स्तरीय एमएसएमई समिट का शुभारंभ किया। भोपाल महापौर मालती राय विशेष रूप से उपस्थित थी। समिट में अनेक उद्योग परिसंघ के पदाधिकारी, बड़े औद्योगिक घराने, नव उद्यमी, केन्द्र और राज्य सरकार के वरिष्ठ अधिकारी शामिल हुए।

मुख्यमंत्री चौहान ने दीप प्रज्ज्वलित कर समिट का शुभारंभ किया। मध्यप्रदेश में एमएसएमई की भूमिका पर लघु फिल्म का प्रदर्शन किया गया। मुख्यमंत्री चौहान ने सफल उद्यमियों को एमएसएमई अवार्ड प्रदान किए और राज्य सरकार एवं देश की प्रतिष्ठित कंपनी और संस्थानों के बीच एम.ओ.यू का आदान-प्रदान भी हुआ। प्रदेश के सभी जिले कार्यक्रम से वर्चुअली जुड़े।

नीतियों में सुधार के बिन्दुओं को सरकार से साझा करें उद्यमी

मुख्यमंत्री चौहान ने कहा कि सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मध्यप्रदेश की समृद्धि और विकास के भागीदार हैं। हम मिल-जुल कर कैसे आगे बढ़ सकते हैं, इस पर विचार-विमर्श के लिए यह समिट की गई है। सफलता के लिए उत्साह सबसे आवश्यक है। आप सकारात्मक सोच के साथ ईज ऑफ डूईंग बिजनेस का लाभ उठाते हुए आगे बढ़ें। सरकारी नीतियों में जहाँ सुधार की आवश्यकता हो, उन बिन्दुओं को सरकार के साथ साझा करें। जो भी बेहतर होगा उसे क्रियान्वित किया जाएगा। हम मिल कर काम करेंगे और मध्यप्रदेश को आगे बढ़ाएंगे। प्रधानमंत्री श्री मोदी के नेृतत्व में भारत को विश्व में अग्रणी बनाने के लिए हम सब प्रतिबद्ध हैं।

मुख्यमंत्री सीखो कमाओ योजना के क्रियान्वयन में सहयोग करें

मुख्यमंत्री ने कहा कि स्व-रोजगार और छोटे उद्योगों को सहायता के लिए प्रदेश में 12 योजनाएँ संचालित हैं। मुख्यमंत्री सीखो कमाओ योजना भी लागू की जा रही है, जिसमें 700 कार्य चिन्हित किए गए हैं। उद्यमी इस योजना से जुड़ें, युवाओं को जोड़ें, उन्हें दक्ष बनाएँ और योजना का लाभ उठाएँ। यह योजना उद्यमियों, रोजगार के इच्छुक युवाओं के लिए उपयोगी और मध्यप्रदेश को सक्षम एवं आत्म-निर्भर बनाने के लिए प्रभावी है।

उद्योगों की आवश्यकता के अनुरूप हैं शासन की नीतियाँ

मुख्यमंत्री चौहान ने कहा कि हर स्तर के उद्योगों की आवश्यकता के अनुरूप नीतियाँ और योजनाएँ बनाकर उनका क्रियान्वयन किया जा रहा है। प्रदेश में उपलब्ध प्रचुर खनिज संसाधन, पर्याप्त लैण्डबैंक, सुविकसित सड़क अधो-संरचना, बढ़ती कृषि उत्पादकता और निवेश अनुकूल नीतियों से औद्योगिक विकास की अपार संभावनाएँ मौजूद हैं। एमएसएमई सेक्टर के विकास के लिए पृथक से विभाग गठित किया गया है। स्टार्टअप को प्रोत्साहित करने और उन्हें बेहतर ईको सिस्टम उपलब्ध कराने के लिए कई प्रावधान किए गए हैं। बेहतर सड़क नेटवर्क के साथ एक्सप्रेस-वे विकसित किए जा रहे हैं। साथ ही निवेश गलियारों का भी निर्माण होगा। बेहतर औद्योगिक अधो-संरचना सुविधा के लिए उद्योगों के क्लस्टर विकसित किए जा रहे हैं। “एक जिला-एक उत्पाद” से रोजगार के नए अवसर सृजित हो रहे हैं। दक्ष मानव संसाधन की उपलब्धता के लिए ग्लोबल स्किल पार्क के साथ संभाग और जिला स्तर पर आई.आई.टी को भी सशक्त किया जा रहा है।

प्रदेश ने वित्तीय प्रबंधन की अनूठी मिसाल प्रस्तुत की

मुख्यमंत्री चौहान ने कहा कि प्रदेश निरंतर विकास की ओर अग्रसर है। हम अब बीमारू राज्य नहीं हैं। मध्यप्रदेश की जीएसडीपी का आकार 15 लाख करोड़ पार कर चुका है। राज्य की परकेपिटा इन्कम एक लाख 40 हजार रूपए हो गई है। इस वर्ष का बजट 3 लाख 14 हजार करोड़ रूपए का है। प्रदेश ने वित्तीय प्रबंधन की अनूठी मिसाल प्रस्तुत की है। राज्य सरकार लाड़ली बहनों को प्रतिमाह एक हजार रूपए देने और केपिटल एक्सपेंडिचर बढ़ाने का कार्य एक साथ कर रही है।

प्रदेश में बना उद्यमशीलता का वातावरण: मंत्री श्री सखलेचा

सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्री ओमप्रकाश सखलेचा ने कहा कि हमारा विभाग अर्थ-व्यवस्था में महत्वपूर्ण योगदान देने वाला विभाग है। सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों को सबसे अधिक आवश्यकता तकनीकी अपग्रेडेशन की है। मुख्यमंत्री चौहान के सहयोग, मार्गदर्शन और उदारता से प्रदेश में उद्यमशीलता का वातावरण बना है। राज्य सरकार औद्योगिक क्लस्टर्स के साथ डिस्प्ले सेंटर और ऑनलाइन कनेक्टिविटी को प्रोत्साहित कर रही है। प्रदेश में उत्पादित सामग्री की बेहतर मार्केटिंग के लिए भी बेहतर प्रयास हो रहे हैं।

उद्यमी हुए सम्मानित

मुख्यमंत्री चौहान ने वर्ष 2018-19, 2019-20 और 2020-21 के लिए एमएसएमई अवार्ड प्रदान किए। प्रभावी कार्य संस्कृति और बेस्ट प्रेक्टिसेस अपनाने के लिए वर्ष 2018-19 का प्रथम पुरस्कार आईटीएल इंडस्ट्रीज लिमिटेड इंदौर को, द्वितीय पुरस्कार शास्त्री सर्जिकल इण्डस्ट्रीज रायसेन और तृतीय पुरस्कार शक्ति एम्पोरियम झाबुआ को प्रदान किया गया। महिला उद्यमियों में मंत्रा कम्पोजिट इंदौर की ममता महाजन को पुरस्कृत किया गया। वर्ष 2019-20 के लिए नंदिनी मेडिकल लेबोरेट्रीज इंदौर को प्रथम, न्यू लाईफ लेबोरेट्रीज मण्डीदीप रायसेन को द्वितीय और सेफफ्लेक्स इंटरनेशनल धार को तृतीय पुरस्कार प्रदान किया गया। वर्ष 2020-21 के लिए मॉर्डन लेबोरेट्रीज इंदौर को प्रथम, डीइसीजी इंटरनेशनल मण्डीदीप रायसेन को द्वितीय और हेल्थीको क्वालिटी प्रोडक्ट्स धार को तृतीय पुरस्कार प्राप्त हुआ। वर्ष 2020-21 में महिला उद्यमियों की श्रेणी में सांई मशीन टूल्स इंदौर की शिखा विशाल जायसवाल और निहारिका अजय जायसवाल तथा अर्थव पैकेजिंग इंदौर की ममता शर्मा को पुरस्कृत किया गया। मुख्यमंत्री चौहान की उपस्थिति में एनएसई इंडिया, वॉलमार्ट, आरएक्सआईएल, इनवॉइस मार्ट तथा आइसेक्ट के साथ एम.ओ.यू. का आदान-प्रदान हुआ।

सचिव एमएसएमई पी. नरहरि ने अतिथियों का स्वागत किया तथा (MSME Summit) समिट और विभागीय कार्यक्रमों एवं योजनाओं की जानकारी दी। समिट में 6 सत्र होना हैं, जिनसे उद्यमियों, विषय-विशेषज्ञों और युवाओं को उद्यमिता के लिए मार्गदर्शन प्राप्त होगा। सत्रों को ऐसा डिजाइन किया गया है, जिससे अलग-अलग क्षेत्रों में नई संभावनाओं पर विशेष फोकस रहे। समिट में एमएसएमई के लिए टेक्नालॉजी ट्रांसफर, न्यू एज फाइनेंस, अंतर्राष्ट्रीय प्रतिस्पर्धा, महिला उद्यमिता को प्रोत्साहन और डिजिटल रूपांतरण विषयों पर विशेष सत्र होंगे।  

समिट में (MSME Summit) संयुक्त राष्ट्र औद्योगिक विकास संगठन के भारत प्रतिनिधि रेने वान बर्कल, फिक्की फ्लो की राष्ट्रीय अध्यक्ष सुधा शिवकुमार, कोप्पल टॉय क्लस्टर के सीईओ किशोर राव, राष्ट्रीय अनुसंधान विकास निगम के अध्यक्ष और प्रबंध निदेशक  कमोडोर अमित रस्तोगी (सेवानिवृत्त), भारतीय लोक प्रशासन संस्थान के महानिदेशक सुरेंद्र नाथ त्रिपाठी और लघु उद्योग भारती के अध्यक्ष महेश गुप्ता उपस्थित थे। इन्वेस्ट इंडिया, एसोचेम इंडिया, सीआईआई, फिक्की, पीएचडी चेम्बर्स ऑफ कॉमर्स एण्ड इंडस्ट्री और डिक्की के प्रतिनिधि समिट में शामिल हुए।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

× How can I help you?